दौंगड़ा अहीर चौक,पुलिस चौकी तथा गांव की गलियों को किया सेनीटाइज
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कनीना। दौंगड़ा अहीर में पिछले पांच दिनों में तीन लोगों की मौत हो गई। सोमवार को एक 50 वर्षीय व्यक्ति की मौत हो गई थी तथा वीरवार को 55 वर्षीय व्यक्ति की मौत हुई थी और शुक्रवार को एक 68 वर्षीय व्यक्ति की मौत हो जाने के बाद प्रशासन द्वारा तीनों का ही अंतिम संस्कार कोरोना प्रोटोकाल के तहत किया गया था। गत पांच दिनों में तीन लोगों की मौत हो जाने के बाद गांव दौंगड़ा अहीर के युवाओं ने कोरोना वाइरस से बचाव के लिए गांव को सेनीटाइज किया। इस अवसर पर बलजीत सिंह तथा इंजीनियर अशोक कुमार यादव ने बताया की इस घातक वायरस से एकमात्र उपाय बस स्वच्छता एवं सामाजिक दूरी बनाकर घर पर ही रहना है। अब जब अपने ही गांव में तीन मौत हो गई है तथा आस-पास के गांवों में इस रोग के संदिग्ध मरीज मिल रहे हैं,तो गांव के युवाओं ने घरों से बाहर निकलने का खतरा मोल लेते हुए, समाजसेवा और गांव के प्रति अपने उत्तरदायित्व का निर्वाह करते हुए सेनीटाइज किया। गांव में सैनिटाइजेशन के कार्य के दौरान युवा शक्ति संघ से दिनेश,दीपक,विशन देव, पवन सहित अनेक युवाओं ने ट्रैक्टर का उपयोग कर गांव की गलियों को सेनीटाइज किया।
ग्रामीणों ने बताया कि इस समय हर घर में बुखार तथा खांसी की समस्या है लेकिन प्रशासन इस तरफ कोई ध्यान नहीं दे रहा है। गांव के ग्रामीणों ने प्रशासन से मांग है कि दौंगड़ा अहीर में पीएचसी स्वीकृत हो चुका है तथा जब तक स्थायी भवन नहीं बन जाता तब तक ग्राम पंचायत द्वारा निर्मित भवन में अस्थायी अस्पताल चलाया जा सकता है तथा उसमें मेडिकल स्टाफ को नियुक्त करके लोगों की समस्याओं को दूर किया जा सकता है ताकि लोगों को स्वास्थ्य संबंधी सुविधाएं दी जा सके।
फोटो कैप्शन 11: दौंगड़ा अहीर में सेनीटाइजर का छिड़काव करते युवा।
अगियार गांव में कोरोना संक्रमितों की देखभाल करेगी स्वास्थ्य विभाग व पुलिस- एसडीएम दिनेश कुमार
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कनीना। कनीना उपमंडल के गांव अगियार में करोना संक्रमितों को कंट्रोल करने के लिए अब पुलिस निगरानी करेगी। ये विचार कनीना एसडीएम दिनेश कुमार ने व्यक्त किए।
उन्होंने कहा कि बार-बार अगियार गांव से एक शिकायत मिल रही थी कि यहां कोरोना संक्रमितों की संख्या 125 से ऊपर जा चुकी है जो अपने घरों में न रहकर इधर उधर घूमते फिरते है जिसको लेकर कड़ा संज्ञान लेते हुए अगियार गांव में पुलिस बल की व्यवस्था कराई है ताकि कोरोना महामारी से पीडि़त लोगों को इधर-उधर घूमने से रोका जाए और उनको सभी सुविधाएं घर पर उपलब्ध कराई जाए।
वही उप मंडल अधिकारी दिनेश कुमार की इस कार्रवाई पर अगियार गांव के लोगों ने जिला उपायुक्त अजय कुमार एवं एसडीएम दिनेश कुमार का तहेदिल से धन्यवाद किया है वही गांव के सरपंच प्रतिनिधि राज सिंह ने कहां है कि उप-मंडल अधिकारी की कार्रवाई से अब गांव के अन्य लोगों को उम्मीद बंधी है कि अब करोना पर चोट होगी।
170 डोज कोरोना वैक्सीन की दी गई
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कनीना। पीएचसी करीरा में जहां 170 डोज कोरोना वैक्सीन की दी गई। विस्तृत जानकारी देते हुए एचआई शीशराम ने बताया कि 45 प्लस के लोगों को प्रथम एवं द्वितीय डोज दी गई हैं। इस मौके पर राकेश कुमार शारदा और सुनीता ने अपनी भूमिका निभाई।
उधर भोजावास पीएचसी में 183 कोरोना डोज दी गई। विस्तृत जानकारी देते हुए सुपरवाइजर राजकुमार चौहान ने बताया कि 18 से 44 वर्ष की उम्र के 33 युवाओं को जबकि 45 प्लस उम्र के लोगों को 150 कोरोना डोज गई है।
धीरे-धीरे ढ़ाणियों और जंगलों में फैलने लगा है कोरोना
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कनीना। अभी तक जंगलों में ट्यूबवेल एवं ढ़ाणियों में रहने वाले लोग कोरोना से लगभग अछूते थे और अपने को सुरक्षित मान रहे थे किंतु वहां तक भी कोरोना दस्तक दे चुका है जिसके पीछे दूरदराज नौकरी करने वाले लोग शामिल है। ट्यूबवेल और जंगलों में रहने वाले कुछ व्यक्ति विभिन्न कंपनियों तथा दूसरे जिलों में नौकरी करते हैं और प्रतिदिन आवागमन करते हैं जिनसे महामारी वहां तक भी पहुंच गई है। अब हालात यह बन गए हैं की ढाणी और जंगलों में भी लोग सुरक्षित नहीं रहे हैं। अब तक जंगलों में रहने वाले लोग कस्बे और गांव में इक्का-दुक्का बारी आते थे और सभी पर बंद करके आते थे किंतु अब वहां तक महामारी द्वारा दस्तक दिए जाने से ये लोग भी परेशान नजर आते हैं।
चार सालों से जंग खा रही शवदाह मशीन को स्थानीय मैकेनिकों ने किया चालू
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-चंद मिनटों में हो सकेगा शव का अंतिम संस्कार
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कनीना। कनीना के राजकीय कालेज के पास शमशान घाट पर पूर्व एसडीएम संदीप सिंह द्वारा लाखों रुपए का गैस पर आधारित शवदाह गृह बनवाकर मशीन करीब चार वर्ष पूर्व स्थापित गैस पर आधारित शवदाह मशीन को क्षत्रियों मैकेनिकों ने शनिवार को शुरू कर दिया है तथा विधिवत रूप से लकड़ी का डेमो दिया गया। बिजली कनेक्षन तथा गैस सिलेंडर की आपूर्ति पहले से ही आपूर्ति की जा चुकी है।
गोरखपुर (उप्र) से करीब 16 लाख रुपये की गैस पर आधारित शवदाह गृह मशीन को करीब चार साल पूर्व मंगवाया गया था। शमशान घाट पर इसे स्थापित कर, बिजली कनेक्शन और 6 सिलेंडरों की व्यवस्था की गई थी किंतु इसका डेमों नहीं दिया गया था। इसी को लेकर विगत वर्ष भारत विकास परिषद ने एसडीएम का अभिषेक मीणा को भी एक मांग पत्र सौंपा था जिसमें शवदाह गृह को शुरू किए जाने की मांग की गई थी।
इस मशीन से शव का दाह किये जाने से पर्यावरण प्रदूषण पर रोक लगेगी वहीं पेड़ों की कटाई भी रुकेगी। कंपनी द्वारा शुरू न किये जाने पर नगर पालिका प्रधान सतीश जेलदार ने कंपनी को नोटिस दिया गया। कंपनी के लोग यहां एक बार आये किंतु पुन: लौटकर नहीं आये। उनकी दस लाख रुपये की पेमेंट भी की जा चुकी है। बाकी पैसे बकाया हैं। पूर्व एसडीएम संदीप सिंह के तबादले के बाद यह शवदाह गृह अधर में लटका हुआ था। कनीना के मैकेनिकों ने अमरनाथ पंजाबी, सुरेश पंजाबी तथा मुकेश पंजाबी ने दो दिनों तक भ्रसक प्रयास कर प्रदर्शन देकर विधिवत रूप से चालू कर दिया है। मैकेनिक मुकेश पंजाबी ने बताया कि इस मशीन का अंदरूनी ताप 1200 डिग्री तक पहुंच जाता है और शव की एक पल में मुट्ठी भर राख बन जाती है। इसमें करीब एक हजार लीटर पानी भरा जाता है जिससे शव जलने की धुआं गुजरती है और अशुद्धियां हवा में नहीं जा सकती हैं। यह एक गैस सिलेंडर में करीब एक शव को जला सकता है। अधिक ताप के लिए अधिक सिलेंडर लगाये जा सकते हैं किंतु प्रयोग एक सिलेंडर ही होगा।
पालिका प्रधान सतीश जेलदार ने कहा कि किसी प्रकार की कमी बेशी होगी उसे पालिका की ओर से पूरा करने का प्रयास किया जाएगा। इस प्रकार जो काम कंपनी द्वारा करने में चार साल लग गये उसे स्थानीय मैकेनिकों ने दो दिनों में कर दिखाया।
फोटो कैप्शन 10: लोकल मिस्त्री शवदाह मशीन का प्रदर्शन करते हुए।
कनीना में सभी दांतों के अस्पताल एक सप्ताह बंद रहेंगे
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कनीना। कनीना में कोरोना मरीजों के बढ़ते संक्रमण को ध्यान में रखते हुये आगामी रविवार तक अर्थात एक सप्ताह के लिये सभी दांतो के अस्पताल बन्द रहेंगे।
कनीना डेंटल एसोसिएशन से डा राजीव ने बताया कि क्षेत्र में लगातार कोरोना के मरीजों की संख्या बढ़ रही है जिसके चलते डेंटल एसोसिएशन की मीटिंग हुई और उसमें मौजूदा हालात की विस्तार से समीक्षा की गई।
सभी दंत चिकित्सकों ने मौजूदा हालात में अस्पताल चलाना मरीजों व डाक्टरों की जान को जोखिम भरा बताया। इसको देखते हुये अंत में फैसला लिया गया कि दिनांक 10 मई से 16 मई तक सभी अस्पताल बन्द रहेंगे। सभी दांत के मरीजों को अपनी सुरक्षा के लिहाज से कुछ दिन अपने इलाज को स्थगित करना होगा। इस दौरान किसी भी आपातकाल की स्थिति में मरीज निकट आपातकालीन सेवाओं से संपर्क कर सकते हैं। इस बैठक में डाक्टर राजीव, डाक्टर ललित, डाक्टर विकास, डाक्टर अमित, डाक्टर दिलबाग उपस्थित रहे।
वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये बैठक संपन्न
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कनीना। हरियाणा कांग्रेस अध्यक्षा कुमारी शैलजा ने कोरोना महामारी में लोगों की सहायता के लिए हरियाणा कांग्रेस द्वारा गठित की गई महेंद्रगढ़ जिला कांग्रेस कोविड रिलीफ कमेटी की वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक ली। बैठक में विधायक राव दान व पूर्व स्वास्थ्य मंत्री राव नरेंद्र व महिला जिला अध्यक्ष महेंद्रगढ़ सुनीता मावता ,पूर्व विधायक राव बहादुर सिंह, राजाराम गोलवा ,वरिष्ठ नेता सत्यवीर झुकिया ,डा हिम्मत सिंह, मनीष ,कालू आकोदा, महेश व अन्य कार्यकर्ताओं ने हिस्सा लिया। राव दान सिंह ने बताया कि बैठक के माध्यम से कांग्रेस के कार्यकर्ताओं को ज्यादा से ज्यादा लोगों की हर संभव मदद करने के निर्देश दिए हैं। राव नरेंद्र ने बताया कि हरियाणा कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्षा कुमारी शैलजा ने सभी कांग्रेस कोविड रिलीफ कमेटी के सदस्यों से अभी तक के कार्यों का फीडबैक ली। एक-एक करके सभी सदस्यों से बातचीत करके महेंद्रगढ़ जिले की वर्तमान कोरोना हालत के बारे में विस्तृत जानकारी ली। महिला जिला अध्यक्ष सुनीता मावता जी ने बताया कि कुमारी शैलजा ने सभी को दिशा निर्देश देते हुए कहा कि पूरे हरियाणा में कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ता लगातार दिन-रात कोरोना मरीजों की मदद कर रहे हैं। कांग्रेस पार्टी सदैव जन सेवा में अग्रसर रहेगी। महेंद्रगढ़ कांगे्रस रिलीफ टीम राव दान सिंह ने कुमारी शैलजा को जिले के टीम के बारे में अवगत करवाते हुए कहा कि कमेटी के सभी सदस्य कोरोना पीडि़तों को हरसंभव मदद कर रहे हैं।
फोटो कैप्शन 8: सुनीता मावता शैलजा के विचार सुनते हुए।
विधायक ने फोन पर व्यक्त किया शोक
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कनीना। मास्टर हिम्मत सिंह तवर गांव पोता की माता भंवरी देवी का हृदय गति रुक जाने के कारण निधन हो गया। ज्यादा तबियत खराब हो जाने के कारण शुक्रवार को उन्हें महेंद्रगढ़ अस्पताल में लेजा रहे थे तब रास्ते में गाड़ी में सीने में तेज दर्द हुआ और उनका देहांत हो गया। गांव पोता में उनका अन्तिम संस्कार कोविड 19 के नियमों का पालन करते हुये किया गया। अटेली के विधायक सीताराम यादव ने फोन पर मा हिम्मत सिंह तंवर से बात करके अपनी संवेदना प्रकट की फोन पर संवेदना प्रकट करने वालों में सत्यवीर सिंह यादव पूर्व उपाध्यक्ष भाजपा, राजेन्द्र प्रसाद भारद्वाज पूर्व महामंत्री कनीना मंडल, शक्ति सिंह यादव पूर्व युवा मोर्चा अध्यक्ष कनीना, हनुमान सिंह पोता, हनुमान शर्मा अगिहार, डा विनोद यादव करीरा, कप्तान सिंह का रोहिल्ला, सवाई सिंह, विनीत कुमार सेहलंग , शिवकुमार शर्मा खेड़ी, हनुमान यादव पूर्व मंडल अध्यक्ष, सुरेश अत्रि बाघोत, थान सिहमंडल अध्यक्ष भोजावास, अतर सिंह राजपूत कैमला, मंडल अध्यक्ष कनीना, राजू आर्य पोता आदि ने प्रकट की ।
13 गांवों में मिले 37 कोरोना संक्रमित
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कनीना। कनीना क्षेत्र में शुक्रवार की अपेक्षा कोरोना संक्रमितों की संख्या कम पाई गई। 13 विभिन्न गांवों में 37 कोरोना संक्रमित मिले हैं। इनमें से भोजावास, ककराला, कोटिया-2-2, रसूलपुर,भडफ़, करीरा, गुढ़ा 3-3, ढ़ाणा,गाहड़ा,रामबास, दौंगड़ा जाट 1-1, मोहनपुर 4, कनीना-11 प्रमुख हैं।
कोरोना महामारी हमें साधु संतों की तरह रहना सिखाती है गीता भाटी
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कनीना। समाजसेवी व सबके दुख सुख को अपना समझने वाली महिला श्रीमती गीता भाटी ने आज अपनी पहली कोरोना डोज लेने के बाद लोगों से अपील की है कि कोरोना महामारी से बचने के लिए पहला उपाय कोरोना वैक्सीन लेना है तथा दूसरा उपाय 2 गज दूरी मास्क है जरूरी। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार प्रशासन या स्वास्थ्य विभाग अकेला कुछ नहीं कर सकता हम सबको मिलकर इस लड़ाई में प्रशासन सरकार व स्वास्थ्य विभाग का सहयोग करना चाहिए, तभी जाकर हम इस कोरोना नामक भस्मासुर को मार सकते हैं। भाटी ने यह भी कहा कि कोरोना महामारी ने हमें घर में साधु संतों की तरह रहना सिखाया है इसलिए घर में रहकर हमें ज्यादा है ज्यादा भगवान का सुमिरन करना चाहिए जिससे कि उक्त बीमारी से पीछा छूट सके।
वार्ड 11 में सैनिटाइजर का किया छिड़काव
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कनीना। कनीना के वार्ड 11 में अरुणा कोशिक पार्षद ने दवा के छिड़काव का श्रीगणेश किया। मिली जानकारी अनुसार कस्बा कनीना में दवा का छिड़काव के लिए सभी कार्रवाई जारी है किंतु अधिकारियों की उदासीनता के चलते छिड़काव तक नहीं हो पा रहा है वहीं विकास कार्य भी नहीं हो पा रहे हैं। नगरपालिका में सेनिटाइजर आया हुआ है किंतु पालिका के अधिकारी पालिका प्रधान का सहयोग नहीं कर रहे हैं। इस संबंध में पालिका प्रधान उच्चाधिकारियों को शिकायत भी कर चुके हैं।
इन परिस्थितियों में भी सभी पार्षद प्रधान का सहयोग करने में अग्रणी हैं। अरुणा कौशिक पार्षद ने नगरपालिका से दवा लेकर ट्रैक्टर द्वारा पूरे वार्ड में दवा का छिड़काव करवाया है। उधर पालिका प्रधान सतीश जेलदार ने कहा कि वे जल्द से जल्द पूरे कस्बा में दवा का छिड़काव करवा रहे हैं। कुछ यंत्र एवं उपकरण खरीब हैं जिनका ठीक करवाया जा रहा है। उन्होंने पार्षद अरुणा कौशिक की प्रशंसा भी की। उन्होंने कहा कि मिलजुलकर महामारी को दूर भगाना है। इस मौके पर कंवर सैन वशिष्ट तथा वार्ड के सदस्य मौजूद थे।
फोटो कैप्शन 4: अरुणा कौशिक वार्ड 11 में दवा का छिड़काव का श्रीगणेश करवाते हुए।
तूड़ी से सस्ते हुए टमाटर
-चेलावास के पूर्व सरपंच सुमेर सिंह पैदा किये भारी मात्रा में टमाटर
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कनीना। कनीना उपमंडल के गांव चेलावास में पूर्व सरपंच सुमेर सिंह ने इस बार भारी मात्रा में मिर्च, टमाटर, भिंडी, ग्वार, पेठा, करेला, लौकी आदि की पैदावार लेनी शुरू कर दी है किंतु विगत वर्ष कुछ लाभ लेने के बाद इस वर्ष तूड़ी से भी सस्ते टमाटर हो गए हैं। 25 किलो टमाटर का कैरेट 70 रुपये में बिक रहा है। तीन रुपये किलो से भी सस्ते टमाटर थोक में जा रहे हैं। सुमेर सिंह ने बताया कि तूड़ी के भाव भी 4 से 5 रुपये प्रति किलो है ऐसे में इस वर्ष टमाटर पैदा कर पछता रहे हैं। उन्होंने बताया कि वे टमाटर एवं हरी मिर्च बेचने के लिए दादरी, कुंड, महेंद्रगढ़, कोसली जा रहे हैं। इस वर्ष जहां अकेले टमाटर में उन्हें दो लाख प्रति एकड़ के हिसाब से लाभ हुआ था इस वर्ष उनके टमाटर को कोई पूछने वाला नहीं है। जहां कोरोना की मार विगत वर्ष भी पड़ी थी इस वर्ष भी टमाटर पर कोरोनौ की सख्त मार पड़ी है। 4 साल पहले उन्होंने सब्जी उगाने का कार्य ड्रीप सिंचाई से किया था। उन्होंने बताया कि दस रुपये किलो हरी मिर्च बिक रही है। 10 मजदूर प्रतिदिन टमाटर तोडऩे के लिए लगाए जाते हैं। 250 रुपये प्रति मजदूर दिहाड़ी लेते हैं। दिहाड़ी व किराया देने के बाद चंद रुपये बच पाते हैं। उनका कहना है कि टमाटर को कोई जीव नहीं खाता वरना तूड़ी की जगह ये टमाटर जीवो को खिला दिए जाए।
फोटो कैप्शन 5: टमाटर को लादकर महेंद्रगढ़ ले जाते पूर्व सरपंच सुमेर सिंह
6: टमाटर की खेती में परेशान बैठे पूर्व सरपंच सुमेर सिंह।
कोरोना काल में खट्टे फलों की मांग बढ़ी
-गरीब द्वारा खट्टे
फल खाना हुआ मुश्किल
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कनीना। ज्यों ज्यों कोरोना की मार बढ़ती जा रही है त्यों त्यों खट्टे फल नींबू, चीकू, मौसमी, संतरा, कीवी, अंगूर, कच्चा नारियल की मांग बढ़ गई है। जिसके चलते ये फल आसमान छूने लगे हैं। लोगों के दिलों में भ्रम है कि ये फल शरीर में रोग रोधक क्षमता को बढ़ाते हैं।
जिस पपीता को कोई पूछने वाला नहीं था आज 100 रुपये किलो बिक रहा है। नींबू की मांग इतनी बढ़ी है कि 200 रुपये किलो पहुंच गया है। मौसमी 12 किलो का कट्टा 1500 रुपये तक पहुंच गया है और संतरा ढूंढी भी नहीं पा रही है। 200 रुपये किलो तक संतरा कहीं मिल रही है। कीवी जिसे कोरोना में ज्यादा खा रहे हैं, 50 ग्राम के करीब का एक कीवी 70 रुपये में बिक रहा है। 80 रुपये का कच्चा नारियल मिल रहा है।
अंगूर 120 रुपये किलो, किन्नू 150 रुपये किलो पहुंच गए हैं। ऐसे में गरीब व्यक्ति द्वारा रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने, कोरोना से बचने के लिए खट्टे फलों का खाना कठिन हो गया है।
यद्यपि डॉक्टर खट्टे फल खाने की सलाह जरूर देते हैं किंतु इसका सीधा सा अर्थ यह नहीं है कि ये फल खाने से किसी प्रकार का रोग नहीं होगा।
जहां कोरोना काल में कुछ सब्जियों के भाव बेहद गिर गये हैं जिनमें लौकी एवं टमाटर दस रुपये किलो बाजार में उपलब्ध हो रहे हैं। केले बेचने वाले शिवकुमार केलेवाले ने तो अपना काम ही बंद कर दिया। उन्होंने कहा कि अब उनके केले की बिक्री नहीं रही है वैसे भी कुछ समय बाजार खुलता है। ऐसे में उनकी रोटी रोजी छीनती नजर जा रही है।
महंगाई को रोकने की मांग-
क्षेत्र के प्रबुद्ध जन अशोक कुमार, दिनेश कुमार, सुमेर सिंह, महेंद्र सिंह,कुलदीप सिंह, महेश कुमार आदि ने फलों के भाव बढऩे पर प्रतिबंध लगाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यदि यही हाल रहा तो आने वाले समय में ही फल खाने को उपलब्ध नहीं हो पाएंगे। इसलिए सरकार द्वारा भाव निर्धारित करने चाहिए।
क्या करते डा जितेंद्र मोरवाल-
डा जितेंद्र मोरवाल का कहना है कि कोई जरूरी नहीं है कि महंगे भाव के फल और सब्जियां खाएं अपितु दैनिक जीवन में काम आने वाले मसालों पर विशेष जोर दें। दही, लस्सी, हरी मिर्च, कैरी अदरक, प्याज, हल्दी, लहसुन, बेर, टींट आदि शरीर में रोग रोधक क्षमता को बहुत बढ़ाते हैं। यहां तक की भुने हुए चने खाने चाहिए यदि आवश्यकता हो तो विटामिन सी और आयरन की टेबलेट उपलब्ध है, वे प्रयोग में लाई जा सकती है। शरीर में रोग रोधक क्षमता बढ़ाने वाले अनेकों घरेलू औषधियां तथा मसाले उपलब्ध होते हैं। जिनका प्रयोग करें तो फलों की जरूरत नहीं होती। इसलिए जागरूकता जरूरी है।
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