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Tuesday, February 2, 2021


कनीना में बढ़ रहा है अतिक्रमण
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कनीना। कनीना क्षेत्र में विभिन्न मार्गों पर अतिक्रमण बढ़ता ही जा रहा है विशेषकर दुकानों के आगे भारी मात्रा में सामान रखा जाता है तथा वाहन खड़े करने के अतिरिक्त बोर्ड बैनर लगा दिए जाते हैं।
 कनीना मंडी सड़क मार्ग के बीच में  डिवाइडर बना हुआ है जिसके चलते दोनों तरफ बहुत कम जगह बच पाती है। आवागमन में अति परेशानी हो रही है। यहीं नहीं बस स्टैंड के सामने मुख्य मार्ग पर भी हालात इससे बदतर हैं। कनीना बस स्टैंड के इर्द-गिर्द अतिक्रमण का बोलबाला है। अतिक्रमण के चलते यात्री भी परेशान है। अतिक्रमण हटाने का कनीना पालिका की ओर से विगत दिनों से  कोई अभियान नहीं चलाया जा रहा है। जिसके चलते लोग परेशान हो चले हैं। लोगों ने पालिका प्रधान से हर सप्ताह अतिक्रमण हटाने की  मांग की है कि सड़क मार्ग के दोनों और दुकानों के सामने सामान रखने वालों के विरुद्ध कार्रवाई करें और अतिक्रमण से निजात दिलाएं।
 नगरपालिका प्रधान सतीश जेलदार ने जल्द ही अतिक्रमण हटवाने की बात कही है।

खंड शिक्षा अधिकारी ने किया विभिन्न स्कूलों का दौरा
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 कनीना। खंड शिक्षा अधिकारी सत्यवान ने कनीना खंड के गांव धनौंदा एवं खरकड़ाबास के विभिन्न स्कूलों का दौरा किया और शिक्षकों की बैठक लेकर हिदायत दी।
खंड शिक्षा अधिकारी ने कनीना उपमंडल के गांव धनौंदा के 3 स्कूलों को राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक तथा, राजकीय कन्या प्रथमिक तथा राजकीय प्राथमिक स्कूलों सहित खरकड़ाबास गांव के  राजकीय माध्यमिक विद्यालय का दौरा किया। सब कुछ ठीक ठाक मिला कितु कुछ कमियोकं देखी उन्हें दुरुस्त करने की हिदायतें दी।
उन्होंने राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय धनौंदा में शिक्षकों की एक बैठक लेते हुए कहा कि शिक्षकों का फर्ज बनता है कि सरकारी स्कूलों में  आने वाले विद्यार्थियों को बेहतर शिक्षा देने की अपील की। उन्होंने कहा कि सरकारी स्कूलों में गरीब तबके के ही विद्यार्थी अधिक आते हैं।  उन्होंने कहा कि कोविड-10 के दृष्टिगत सभी नियमों का पालन करना चाहिए वहीं कक्षा में जहां
ब्लैक बोर्ड की सुविधा होनी चाहिए। ब्लैैक बोर्ड पर टापिक एवं सब-टापिक लिखा होना चाहिए। शिक्षक अच्छी प्रकार तैयारी करके आए तभी कक्षा में बेहतर ढंग से पढ़ाया जा सकता है। यदि विद्यार्थी किसी कारणवश फर्श पर बैठे हैं तो टाट पट्टी जरूर होनी चाहिए वरना डेस्क की सुविधाएं देनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि शिक्षक अपनी जिम्मेवारी को समझें तभी विद्यार्थियों को पढ़ाने में कामयाब हो पाएंगे। उन्होंने कहा कि निजी स्कूलों में विद्यार्थी शिकायत लेकर सीधे प्राचार्य तक पहुंच जाते हैं और प्राचार्य संबंधित शिक्षक को बुलाकर कारण पूछते हैं जो अच्छी परंपरा है। जब सरकार शिक्षकों को वेतन दे रही है तो उस वेतन का समुचित
काम भी दिखाना चाहिए। इस मौके पर प्राचार्य कृष्ण सिंह,श्रुति एबीआरसी, महिपाल सिंह , राजेश कुमार, अनूप कुमार सहित समस्त स्टाफ उपस्थित था
फोटो कैप्शन 5: सत्यवान सिंह खंड शिक्षा अधिकारी धनौंदा स्कूल में बैठक लेते हुए।



बढ़ रही है दिन के समय गर्मी, बदल रहा है मौसम
-मौसम विभाग दे रहा है बूंदाबांदी के संकेत
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  कनीना। दिन के समय तेज धूप के चलते धूप में बैठ पाना भी कठिन हो गया है रात को तथा सुबह सवेरे जहां ठंड पड़ती है वहीं दिन के समय बहुत तेज धूप पड़ती है। पहले कभी धूप में बैठकर लोग आराम करते देखे गए किंतु आप धूप में बैठना उनके लिए कठिन हो गया है।
किसानों राजेश, महिपाल, दिनेश ने बताया कि अब तो धूप अधिक होने से उनकी फसल जल्दी पक जाएगी, अभी फरवरी प्रारंभ हुई है इतनी तेज धूप दिन के समय नुकसानदायक साबित होगी।
कृषि विस्तार सलाहकार डा देवराज ने बताया की गर्मी पड़ रही है वह अधिक समय नहीं चलेगी। मौसम विभाग ने 3 फरवरी से 5 फरवरी के बीच मौसम बदलने की बात कह रहा है। उन्होंने कहा लंबे समय तक गर्मी पडऩा नुकसानदायक साबित हो सकता है। इसलिए लंबे समय तक गर्मी नहीं पडऩी चाहिए वरना वरना गर्मी अधिक पडऩे के कारण फसल जल्दी पक जाएगी।  उन्होंने कहा कि इस बार बंपर पैदावार होने की उम्मीद है।
बोलेरो गाड़ी चोरी
संवाद सहयोगी, कनीना। कनीना में रह रहे सुनील कुमार नामक व्यक्ति की घर के पास खड़ी बोलेरो गाड़ी को अज्ञात चोर चोरी कर ले गये। मिली जानकारी अनुसार सुनील कुमार जांडला थाना फतेहाबाद हाल किराएदार रेवाड़ी रोड कनीना ने पुलिस में सूचित किया कि उनकी बोलेरो गाड़ी रात के करीब एक बजे बजे अज्ञात चोर घर के पास से चोरी कर ले गये। पुलिस जांच में जुट गई है।

न्यायिक परिसर एवं उपमंडल कार्यालय  कनीना में निर्माण हुआ निश्चित
-दुकानदारों में मची भागदौड़, दुकानें हटाये जाने का लग रहा है डर
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 कनीना। 7 सालों की कनीना वासियों की कड़ी मशक्कत के बाद जहां न्यायिक परिसर एवं उप मंडल कार्यालय कनीना में ही बनने निश्चित हो गए हैं तब से सेकड़ों दुकानदारों का
 खाना पीना आराम हो गया है। उनको  दुकानें तोड़ी जाने की संभावना का डर सता रहा है। बार बार बैठक कर उच्चाधिकारियों से मिल रहे हैं। उल्लेखनीय पंचायत समिति की 54 कनाल 6 मरला जमीन है जिसमें कुछ दुकानें भी बनी हुई है। यद्यपि पंचायत समिति का कहना है कि 153 लोगों को खोखे रखने की जगह दी हुई है। विगत दिनों पंचायत समिति द्वारा दुकानों के नंबर दिए जाने के बाद तो दुकानदारों की हलचल और भी बढ़ गई है।
उधर पंचायत समिति की जगह, नगर पालिका के वर्तमान कार्यालय के पास तथा बस स्टैंड के पीछे फुटबाल ग्राउंड के पास न्यायिक परिसर एवं आवास बनाये बनाए जाने को अंतिम रूप दिया जा रहा है। साथ में 153 दुकानें खोखे आदि पंचायत समिति में जगह दे रखी है जिनको हटाए जाने को संभावना जताई जा रही है। यही कारण है कि दुकानदार लंबे समय से संघर्ष कर रहे हैं। 1 वर्ष पहले भी कुछ इसी प्रकार की चर्चाएं चली थी तब से लेकर आज तक वे विभिन्न अधिकारियों से मिल रहे हैं और अपनी दुकानें सुरक्षित करवाने की प्रार्थना कर रहे हैं।
 भाजपा के पूर्व प्रदेश प्रदेश मंत्री जसवंत सिंह बबलू जहां विगत दिनों में एसडीएम विश्राम कुमार मीणा से मिल चुके हैं और एक बार फिर से  मंगलवार को दुकानदारों के साथ नारे लगाते हुए एसडीएम कार्यालय तक पहुंचे। एसडीएम से मुलाकात की तत्पश्चात नेताजी मेमोरियल क्लब में फिर से दुकानदारों ने एक बैठक आयोजित कर आगामी रणनीति बनाई।
जसवंत सिंह बबलू तथा करीब 50 दुकानदार नारे लगाते हुए एसडीएम कनीना विश्राम कुमार मीणा से मिलने उनके कार्यालय पहुंचे। विश्राम कुमार मीणा ने उन्हें आश्वस्त किया कि अभी डरने की कोई संभावना नहीं है। अभी नक्शा आएगा सरकार से नक्शा आने के बाद ही आगामी कार्रवाई के बारे में बताया जा सकेगा लेकिन उन्होंने
धैर्य रखने की बात कही। तत्पश्चात से दुकानदारों ने कुछ राहत की सांस ली है।
 बैठक की आयोजित -
दुकानदारों ने एसडीएम से मिलने के पश्चात फिर से नेताजी मेमोरियल कनीना में जसवंत सिंह बबलू की अध्यक्षता में एक बैठक आयोजित की जिसमें सभी दुकानदारों ने जसवंत सिंह बबलू पर विवास व्यक्त करते हुए कहा कि उनकी लड़ाई में में वे अहं भूमिका निभा सकते हैं ।कहने को तो 153 खोखे/दुकानें  है लेकिन उन पर 5000 परिवार आश्रित है।
उन्होंने कहा कि वे सरकार का पूरा साथ देने के लिए तैयार है किंतु उनके रोजगार को न छीना जाए। अवसर पर सभी ने सर्वसम्मति से निर्णय लिया कि एक बार फिर से जिला उपायुक्त नारनौल से अगले सप्ताह मिला जाएगा जिसमें सारी बातें दुकानदारों की रखी जाएंगी ताकि कोई समाधान निकल सके।उल्लेखनीय है कि यह दूसरा अवसर है जो दुकानदार एसडीएम से मिल रहे मिल चुके हैं। इससे पहले भी कई बार बैठक आयोजित कर चुके हैं
एक नहीं अपितु 3 साइट-
 जहां न्यायिक परिसर और उपमंडल कार्यालय बनाने के लिए एक नहीं अपितु 3 साइट हैं। उच्च अधिकारी समय-समय पर आकर देख चुके हैं जिनमें वर्तमान न्यायिक परिसर की जगह के साथ-साथ फुटबाल ग्राउंड के पास जगह तथा नगर पालिका के कार्यालय के साथ जगह का भी निरीक्षण कर चुके हैं।
दुकानदार ले चुके हैं उच्च न्यायालय का सहारा- एक वर्ष पहले दुकानदारों ने अपनी दुकानें बचाने के लिए पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय चंडीगढ़ का सहारा लिया था। तत्पश्चात इस वर्ष 12 जनवरी को करीब 21 दुकानों के नोटिस जारी करने के बाद से दुकानदार अवमानना नोटिस ले आये। इस पर भी उन्हें डर सता रहा है कि कहीं उनकी दुकानें न तोड़ दी जाएं।
संघर्ष की दास्तान.....
  2013 में तत्कालीन सीपीएस एवं अटेली विधायक अनीता यादव के भरसक प्रयासों के उपमंडल का दर्जा दिया गया। जहां प्रारंभ में पीपल वाली बणी/जंगल में पर तत्पश्चात कालर वाली जोहड़ पर तत्पश्चात खंड विकास पंचायत अधिकारी कार्यालय के पीछे भवन बनाए जाने की चर्चा जोर शोर से चली। अटेली विधायक संतोष यादव के समय पीपलवाली बणी में कार्यालय निर्माण के लिए राशि भी आ गई थी। वर्ष 2013 के बाद खंड विकास एवं पंचायत अधिकारी कार्यालय में उपमंडल कार्यालय अस्थायी रूप से स्थापित करवा दिया गया जो आज तक वहीं चल रहा है। वर्ष 2017 में न्यायिक परिसर उन्हाणी गांव में बनाए जाने की चर्चा चलते ही 67 दिन एसडीएम कार्यालय समक्ष धरना प्रदर्शन चला। 21 फरवरी 2017 एवं 27 फरवरी 2017 को तत्पश्चात अगस्त 2018 को महापंचायत आयोजित करवाई गई ताकि सभी कार्यालय कनीना में ही बनवाए जाए। एसडीएम से बार बार मिले, 21 फरवरी से लगातार धरना जारी रहा जुलूस चला, कनीना बंद रखा गया,उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों लोग मिले, जिला उपायुक्त से तत्कालीन समय में लोग मिले, अनशन जारी रहा यहां तक कि कनीना में ही सभी कार्यालय बनाए जाने को लेकर के वर्ष 2017 में 13 पार्षदों में से 12 ने सामूहिक इस्तीफा दे दिया। 6 जुलाई 2015 को मनोहर लाल खट्टर ने कनीना कालेज में एक जनसभा आयोजित करते हुए फायर ब्रिगेड, सब्जी मंडी, उप मंडल कार्यालय परिसर, स्टेडियम सभी कनीना में बनाए जाने की घोषणा की थी तब से लोग चैन से नहीं बैठे हैं। आखिरकार अब दोनों भवन कनीना में बनाये जाने को अंतिम रूप दे दिया गया है।
फोटो कैप्शन 9: एसडीएम कनीना से मिलने जाते हुए जसवंत बबलू सहित दुकानदार।
10: नेताजी मेमोरियल क्लब कनीना में बैठक आयोजित करते दुकानदार।


शिक्षा विभाग में प्रवेश की तिथि बढ़ाई
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 कनीना। कोविड-19 के दृष्टिगत तथा विद्यार्थियों को ध्यान में रखते हुए सरकार व शिक्षा विभाग ने सरकारी स्कूलों में 9वी और 11वीं कक्षा में प्रवेश की तिथि 15 फरवरी कर दी है।
 विस्तृत जानकारी देते हुए प्राचार्य अभयराम यादव ने बताया कि यह प्रवेश की तिथि केवल 9वी और 11वीं कक्षा के लिए ही अभी तक बढ़ाई हैं। ये कक्षाएं बोर्ड की नहीं हैं।



दवा पिलाने का लक्ष्य 98.6 फीसदी पहुंचा
-ग्रामीण क्षेत्रों के 12933 घरों में पिलाई गई खुराक
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 कनीना। 31 जनवरी से शुरू हुए पोलियो की खुराक पिलाने का सिलसिला 2 फरवरी तक जारी रहा। 2 फरवरी तक ग्रामीण क्षेत्र के 35 गांवों में पालियों की खुराक पिलाई गई।  12933 घर है जहां दवा पिलाने का लक्ष्य 8925 बच्चों का था किंतु 8808 बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाई गई।
 विस्तृत जानकारी देते हुए डा धर्मेंद्र एसएमओ ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्रों में खुराक पिलाने का लक्ष्य 98.6 फीसदी पहुंच गया है। कनीना और कनीना मंडी में 2540 घर थे 2061 बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाई गई जबकि लक्ष्य 2130 बच्चों का रखा था। यहां 96.7 फीसदी बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाई गई है। इस काम के लिए जहां 3 मोबाइल टीमों का गठन किया गया था जिनमें कनीना, मुंडिया खेड़ा एवं  भोजावास में एक-एक मोबाइल टीम बनाई गई थी। वही कनीना में 26 टीमें घर-घर जाकर पोलियो की खुराक पिला रही थी। इस बार बेहतर परिणाम आया है। लंबे समय के बाद सरकार द्वारा पोलियो खुराक पिलाने का सिलसिला फिर से शुरू किया गया था जिसमें आशातीत सफलता पाई है। कनीना के ग्रामीण एरिया में 35 गांव शामिल है जिनमें दो पीएचसी मुंडिया खेड़ा और भोजावास भी शामिल किए गए हैं। सभी टीमें जी-जान से जुटी हुई थी और पोलियो की खुराक पिलाने का लक्ष्य हासिल कर लिया है।
 फोटो कैप्शन 8: पोलियो की खुराक पिलाते हुए मोबाइल टीम के कर्मी।

शहीदों का सम्मान करना प्रत्येक व्यक्ति का फर्ज-दलीप सिंह
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कनीना।  कनीना में शुक्रवार को शहीद अशोक कुमार की 21वीं पुण्यतिथि पर हवन एवं श्रद्धांजलि सभा आयोजित की गई। जिसमें बोलते हुए कनीना पालिका के पूर्व प्रधान मा दलीप सिंह ने कहा कि शहीदों का सम्मान करना समाज के प्रत्येक व्यक्ति का नैतिक दायित्व बनता है। देश ही सीमाओं की रक्षा करने एवं शांति व कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए जिन वीर जवानों ने अपने प्राणों की आहुति दी है उन्हें कभी भुलाया नहीं जा सकता है। उन्होंने कहा कि अशोक कुमार दिल्ली पुलिस में तैनात था। ड्यूटी के दौरान डाकुओं का पीछा करते करते हुए वह दीवार फांदते हुए गंभीर रूप से घायल हो गए था। इस दौरान उन्होंने दो अपराधियों को उस समय तक काबू किए रखा जब तक पीछे से उनके साथी मौके पर नहीं पहुंच गए। आत्म विश्वास से भरे अशोक कुमार की हिम्मत की सभी साथी कर्मचारियों व पुलिस अफसरों ने खूब प्रशंसा की। गंभीर रूप से घायल इस जवान को इलाज के लिए अस्पताल में दाखिल कराया गया लेकिन दुर्भाग्य की बात है कि अपराधियों से लड़ाई जीतने वाला यह जवान मौत से हार गया। एक फरवरी 1999 को उन्होंने अंतिम सांस ली। उनके साहस को देखते हुए दिल्ली पुलिस की ओर से शौर्य चक्र प्रदान किया गया।
   उनकी कनीना सीएचसी के नजदीक प्रतिमा स्थापित गई है जहां प्रति वर्ष शहीद के परिजनों द्वारा श्रद्धांजली सभा व हवन का आयोजन किया जाता है। उनकी धर्मपत्नी संतोष देवी को कनीना की नगरपालिका प्रधान सर्वसम्मति से चुना गया था। इस मौके पर अरविंद जोशी द्वारा हवन यज्ञ करवाया गया। इस अवसर पर कमल सिंह पार्षद ने कहा कि शहीद किसी एक जाति के नहीं होते बल्कि सभी के लिए बराबर होते हैं। शौर्य चक्र विजेता अशोक कुमार ने जो नेक कार्य किया है वह पूरे देश में सदा सदा याद रखा जाएगा। उन्होंने कहा कि हर वर्ष इस शहीद को याद किया जाता रहेगा यही उनको सच्ची श्रद्धांजलि होगी। वह युवा पीढ़ी के लिए प्रेरणा स्रोत बने रहेंगे। इस मौके पर संतोष देवी,राजेंद्र सेन, रोहताश सिंह पूर्व सचिव, मा सेढ़ाराम, रामावतार, कैलाश करीरा, अशोक वर्मा, मास्टर शेढ़ाराम, पे्रम, शहीद की पुत्रियां सोनिया, दीपिका, रूबी, पुत्र दुष्यंत सेन, कमल यादव, सहित शहीद परिजन आदि अनेक गणमान्य लोग उपस्थित थे।   
फोटो कैप्शन 1: शहीद अशोक कुमार को श्रद्धांजलि देते हुए मा दलीप सिंह।


मटर की खेती फसल का बेहतर विकल्प
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कनीना।कनीना क्षेत्र के किसानों ने भारी मात्रा में मटर की खेती की है। बारिश बूंदाबांदी के चलते जहां मटर की खेती में आब आ गई है वहीं सब्जी के लिए यह फसल फरवरी माह के अंत में  पैदावार देने लग जाएगी। अभी तक मटर का भाव बाजार में 30 रुपये प्रति किलो तब चल रहा है जोकि इस मटर के आने पर आने के बाद भाव गिरने के आसार हैं।
 कनीना खंड के कनीना, कोटिया, मोड़ी, भडफ़ एवं भोजावास आदि गांवों में किसानों ने भारी मात्रा में मटर उगाई है। किसान गजराज सिंह ने बताया कि 5000 रुपये प्रति 25








किलो के भाव से उन्हें मटर का बीज कंपनी से अनुबंध के आधार पर लिया है और 2 एकड़ भूमि पर मटर की खेती की है। अक्टूबर माह के अंत में यह बिजाई की थी और अप्रैल माह में तैयार हो जाएगी। प्रति एकड़ 16 क्विंटल के करीब पैदावार होने के आसार है जो अन्य फसलों के मुकाबले बेहतर आय दे सकते हैं। उन्होंने कहा कि कंपनियां हर वर्ष अलग अलग हिसाब से उनका मटर खरीद कर ले जाती है। करीब 5500 रुपये प्रति क्विंटल वापस लेती हैं।  उन्होंने कहा कि मटर की खेती लाभप्रद साबित हो सकती और अन्य फसलों के मुकाबले बेहतर आय प्राप्त हो सकती है।
 डा मंदीप सिंह डीएचओ बताया कि किसानों ने मटर की खेती की है यह किसी कंपनी से बीज लेकर तैयार की है। कंपनी पैदावार ले जाती है। जिससे उन्हें बेहतर प्राप्त होती है। उन्होंने बताया किसान यदि चाहे तो टमाटर की खेती कर सकते हैं उनके लिए बेहतर आय का स्रोत बन सकती है। गजराज सिंह ने बताया कि फरवरी माह में मटर पैदावार देने लगेगी तत्पश्चात कुछ हरी मटर बाजार में बेचेंगे तथा बाकी मटर को बीज के रूप में तैयार करेंगे और कंपनियों को बेच देंगे। उनका मानना है कि सरसों और गेहूं के साथ साथ मटर की खेती ज्यादा कारगर है। वही कृषि वैज्ञानिक मानते की पैदावार करने से खेती में उर्वरा शक्ति बढ़ जाती है। ऐसे में किसानों का रुझान मटर की खेती की ओर बढ़ा है।
 फोटो कैप्शन 2:मटर की खेती को निहारता किसान गजराज सिंह।

 

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