Not sure how to add your code? Check our installation guidelines **KANINA KI AWAZ **कनीना की आवाज**

Wednesday, October 15, 2025


 






तीन वार्डों की गली गंदे पानी से भरी
- नालों का गंदा जल दूर तक फैला तथा पड़े हैं गंदगी के ढेर
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कनीना की आवाज।
 कनीना के वार्ड 1,2 और 3 की एक गली गंदे पानी से लगातार भरी हुई है। आधा किलोमीटर दूरी तक  गंदे नाले का ओवरफ्लो तथा गंदा पानी फैला हुआ है। पिछले करीब 2 माह से एक दिन भी यह गंदा पानी नहीं सूखा है। पास में ही गंदगी के ढेर लगे हुए हैं। इनमें या तो आवारा जीव जंतु घूमते रहते हैं या कोड बिन वाले लोगों से भी खेलते रहते हैं इन वार्डों की यह बदहालात देखकर ऐसा लगता है कि कनीना में नगरपालिका नाम की कोई चीज नहीं है। दूर दराज तक फैलती हुई बदबू लोगों का जीना हराम कर रही है। पिछले लंबे समय से लोग परेशानी से निजात पाना चाहते हैं किंतु नगर पालिका ने अभी तक कोई कदम नहीं उठाया है। वार्ड एक, दो और तीन की एक गली जो रेवाड़ी रोड को क्रास करते हुए सीधी करीरा गांव को जाती है, इसमें गंदा पानी लगातार खड़ा रहता है। आस पड़ोस के एक दर्जन से यदि घरों में सांस लेना भी कठिन हो गया है। यही नहीं पास का चौड़ा गंदा नाला ओवरफ्लो करके गंदगी को और बदबू को भी फैला रहा है।
कूड़ा कचरा-गंदे नाले के पास कूड़े कचरे का ढेर लगा है। इस कचरे में आवारा जीव विचरते रहते हैं। कभी यहां कूड़़ादान होते थे जो नगरपालिका ने जर्जर होने के कारण हटा दिए। अभी भी लोग अपनी जगह नहीं बदल रहे अपितु इसी जगह कूड़ा डाल रहे हैं। कुछ समय के लिए नगर पालिका ने कूड़े कचरे के पास बैठने की बेंच भी रखी थी जिसे बाद में हटा भी लिया है। अब इस कूड़े स्थल पर कई कई दिनों तक कूड़ा नहीं उठाया जाता। लोग परेशान हैं।
गंदा नाला- यहां चौदा गंदा नाला है जो ओवरफ्लो हो रहा है। ओवरफ्लों को देखते हुए इस पर डाली गई सीट भी हटा दी गई है, जिससे बदबू दूर दराज तक फैल रही है और गंदे नाले का जल दूर दराज तक फैल हुआ है।
 जोहड़ का गंदा जल- जोहड़ का गंदा जल दूरदराज तक फैल रहा है। करीब आधा किलोमीटर दूरी तक घरों की दीवारों के साथ खड़ा हो जाता है। बार-बार नगरपालिका शिकायत की जाती है किंतु कोई सुनने वाला नजर नहीं आता। आखिरकार लोग परेशान होकर शिकायत करना ही भूल गए। कहेने को तो नगर पालिका है किंतु ग्राम पंचायत से भी बदतर है।
 क्या कहते लोग-
 इस क्षेत्र के लोग धर्मवीर, सुनील कुमार, महेश कुमार, सुरेंद्र कुमार आदि ने बताया कि पास के जोहड़ की समस्या है। इस जोहड़ की पैमाइश करके अतिक्रमण हटा दिया जाए तो समस्या से निजात पाया जा सकता है किंतु नगर पालिका अतिक्रमण हटाने की कोई बात नहीं कह रही है। क्या कहते हैं अधिकारी-
 कनिष्ठ अभियंता नगर पालिका राकेश कुमार से संबंध में बात हुई। उन्होंने बताया कि यहां के जोहड़ की खोदाई करवाना जरूरी है, पैमाइश हो या नहीं हो परंतु इसकी खोदाई हो जाने पर इस समस्या से का हल निकल जाएगा। उन्होंने बताया कि सफाई कर्मचारी कम होने की वजह से सभी वार्डों में नहीं जा पा रहे, सफाई का प्रबंध किया जा रहा है। उन्होंने बताया चौड़े नाले और जोहड़ की समस्या का एकमात्र इलाज जोहड़ की खोदाई करना है। फोटो कैप्शन 05: तीनों वार्डों का की गंदगी
06: चौड़े नाले का ओवरफ्लो
07:जोहड़ का दूरदराज तक फैला गंदा जल







कैमला स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य की जांच की।
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कनीना की आवाज।
राजकीय माध्यमिक विद्यालय कैमला में विद्यार्थियों के स्वास्थ्य संबंधी जांच करने के लिए डाक्टर हितेश अरोड़ा के नेतृत्व में संदीप सिंह फार्मासिस्ट, दीपक कुमार , ममता देवी एएनएम आदि टीम के साथ विद्यालय में पहुंचे और सभी विद्यार्थियों का ऊंचाई ,वजन, हीमोग्लोबिन, रक्त संचार, आंख, नाक, गला आदि संपूर्ण शरीर की जांच कर स्वास्थ्य संबंधी आवश्यक जानकारियां सभी विद्यार्थियों  दी।  
   उन्होंने बताया कि प्रात: सूर्योदय से पूर्व उठकर योग करें जिससे आपका शरीर ,मन और मस्तिष्क स्वस्थ रहेंगे प्रात: हमें शुद्ध आक्सीजन अधिक मात्रा में मिलेगी जो हमारे शरीर के लिए लाभदायिक रहेगी हमें फास्ट फूड से दूर रहकर पौष्टिक एवं  गुणवत्तापूर्ण भोजन करना चाहिए और दूध का अधिक मात्रा में सेवन करें , दैनिक जीवन सम्बंधित  उपयोगी जानकारी दी। विद्यालय की ओर से मौलिक मुख्याध्यापक  वीरेंद्र सिंह जांगिड़ ने टीम का आभार व्यक्त करते हुए विद्यार्थियों को बताया कि हम सभी ने अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखना चाहिए  स्वास्थ्य के लिए सरकार और विभाग समय-समय पर उचित और आवश्यक जानकारी उपलब्ध करा रही है। विद्यालय में जाकर सभी विद्यार्थियों की स्वास्थ्य संबंधी संपूर्ण जांच और आवश्यक परामर्श दिया जा रहा है ताकि हमारे देश के भविष्य स्वस्थ रह सकें और आत्मनिर्भर एवं समृद्ध भारत की परिकल्पना साकार हो सकें। स्वस्थ शरीर में ही स्वस्थ मस्तिष्क का वास होता है। जो हमारी बुद्धि लब्धि के विस्तार में सहायक है। इस अवसर पर मनवीर सिंह तंवर ,सुनील कुमार शास्त्री, देवेंद्र कुमार, सुनील कुमार ,राजेश कुमार, भगत सिंह ,गरिमा रानी, सूबे सिंह, तारामणि देवी, पिंकी देवी, बबली देवी, सुनील कुमार आदि उपस्थित रहें।
फोटो कैप्शन 04: डाक्टर बच्चों के स्वास्थ्य की जांच करते हुए।









हर प्रकार से भोजन और अनाज को खराब होने से बचना चाहिए -भगत सिंह
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कनीना की आवाज।
आए दिन भोजन को खराब करने तथा इधर उधर फेंकने की शिकायतें मिल रही है। लोगों को जागरूक करके ही खाद्य सामग्री को खराब होने से बचा सकते हैं। विवाह समारोह स्थल हो या किसी घर में बहुत अधिक खाना बेकार चला जाता है।
न केवल इंसान अपितु आवारा जंतु, रोडेंट जिनमें चूहे गिलहरी और कितने ही पक्षी खाद्य पदार्थों को खराब कर रहे हैं। जागरूकता के चलते इस अभियान को आगे बढ़ाया जा सकता है और खाद्य सामग्री को खराब होने से बचा सकते हैं। कुछ प्रमुख लोगों से इस संबंध में चर्चा हुई-
**खाद्य सामग्री हर इंसान तक पहुंचाने का एक ही तरीका है कि चूहों गिलहरी आदि से अनाज एवं खाद्य सामग्री को बचाना चाहिए। यहां तक की भंडारण उचित ढंग से किए जाने चाहिए ताकि भंडार में किसी प्रकार की नमी न पहुंचे और खाद्य पदार्थ खराब होने से बच सके। आवारा जंतु और रोडेंट आदि से सुरक्षा के लिए प्रबंध करने चाहिए। जब इंसान के पास पर्याप्त मात्रा में खाद्य सामग्री होगी तो वह दूसरों तक पहुंचा सकेंगे और गरीबी खत्म करने में अहम योगदान होगा।
--- डा. देवेंद्र यादव, पूर्व कृषि अधिकारी
 हर घर में रोटी बर्बाद हो जाती है। वैसे तो बहुत से घरों में अब चूल्हे की बजाय गैस की रोटी बनती और गरमा गरम रोटी खाकर खुश होते हैं वहां रोटियां बर्बाद कम होती हैं परंतु कुछ घरों में आज भी अधिक रोटियां बन जाती है। जिसके कारण उन्हें फेंकना पड़ता है उन्होंने कहा गायों के लिए अलग से रोटी बनाना अच्छी बात है किंतु जो रोटियां बच जाती है उनको गायों तक पहुंचाना चाहिए। जितनी भूख हो उसी अनुसार सारे परिवार के लिए रोटियां बनाई जाए फिर भी यदि कोई रोटी बच जाती है तो उसे गो-ग्रास गाड़ी आती है उसमें डाल देना चाहिए। अक्सर लोग इधर-उधर रोते को फेंक देते हैं इससे बचना चाहिए क्योंकि आवारा जंतु पनपते हैं जो कभी भी किसी इंसान को काट सकते हैं।
   -- भगत सिंह गौशाला प्रधान
 मैरिज प्लेस में एक नियम बना रखा है कि अधिक मात्रा में खाद्य पदार्थ विवाह शादी समारोह आदि में बन जाते है तो उनको गौशाला एवं सुअर पालने वालों तक पहुंचाया जाता है। अगर वह सूखा पदार्थ है तो गौशाला की गाड़ी आती है उसमें डाल दिया जाता है। लोग जूठन अधिक छोड़ते हैं। इस जूठन में बचे हुये सभी पदार्थ सुअर पालन केंद्र वाले मुफ्त में ले जाते हैं। इससे खाद्य पदार्थ चाहे सुअर या गायों को उपलब्ध होते हैं। इससे खाद्य पदार्थों को कुछ खराब होने से बचा सकते हैं। उनका यह नियम लंबे समय से चला आ रहा है।
    --हनुमान सिंह मैरिज प्लेस संचालक
विवाह शादियों और समारोह  में जाने वाले लोगों को पहले समझाया जाए। हो सकता है कुछ लोगों पर प्रभाव पड़े और वह खाने की प्लेट में अधिक खाना न छोड़ें। इसे भोजन की बचत हो सकती है। यहां तक की विवाह शादियों में भारी मात्रा में भोजन खराब होता है उसे पर अंकुश लगाने के लिए लोगों को अधिक खाना प्लेट में एकबार न डालने प्रेरित करना चाहिए। तभी ऐसा संभव हो सकता है कि खाना खराब होने से बचाया जाए। एक एक दाना सर्दी एवं गर्मी में बड़ी मेहनत करके कमाया जाता है। उसको खराब करना अनुचित है। कभी किसान पर तरस खाते हुए अन्न को बर्बाद न करें।
----दिनेश प्रधान मोलडऩाथ आश्रम ट्रस्ट किसान
 फोटो कैप्शन :दिनेश कुमार, हनुमान सिंह , डा देवेंद्र ,भगत सिंह।



प्रवक्ता सचिन कुमार हुए ग्लोबल विभूति अचीवर्स अवार्ड से सम्मानित
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कनीना की आवाज।
देश की सुप्रसिद्ध समाजसेवी संस्था जीकेएसएसएस व अनुवाद संस्थान एवं गुवाहाटी राष्ट्रभाषा महाविद्यालय परिचालना समिति के संयुक्त तत्वाधान में  असम के गुवाहाटी में एक दिवसीय पुस्तक विमोचन , सामाजिक जागरूकता व ग्लोबल विभूति अचीवर्स अवार्ड समारोह का आयोजन किया गया। जिसमे कनीना के भौतिक विज्ञान के प्रवक्ता सचिन कुमार को ग्लोबल विभूति अचीवर्स अवार्ड प्रदान किया गया । राष्ट्रीय स्तर के इस भव्य कार्यक्रम में पूरे देश से 25 ऐसी विभूतियों को सम्मानित किया गया जो समाज में अतुलनीय योगदान दे रहे है जिसमे हरियाणा से 3, उत्तराखण्ड से 2, छत्तीसगढ़ से 1, दिल्ली से 2 हिमाचल प्रदेश से 1 व ओडि़सा , मध्यप्रदेश , महाराष्ट्र , पश्चिम बंगाल , बिहार , तमिलनाडू , आन्ध्रप्रदेश व गुजरात की प्रतिभाएं शामिल रही। सचिन कुमार को यह सम्मान शिक्षा , समाजसेवा व मंचीय विधा में प्रदान किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में आईएएस अबुल बासर मोहम्मद यूनुस , देश्समाजसेवी श्रीप्रकाश निमराजे व सूर्यकांत शर्मा पूर्व डीजीएम सेबी रहे। समारोह में देश के सुप्रसिद्ध प्रोफेसर , प्राध्यापक , साहित्यकार , कवि व शोधार्थी उपस्थित रहे व रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए गए। कार्यक्रम में सभी ने सचिन कुमार के समाज के प्रति उल्लेखनीय योगदान की प्रशंसा की। सचिन कुमार को यह प्रतिष्ठित पुरस्कार मिलने पर क्षेत्र में खुशी की लहर व्याप्त हो गई है।
गौरतलब है कि सचिन कुमार इससे पहले भी कई मंचों के माध्यम से राष्ट्रीय स्तर तक कनीना व समूचे क्षेत्र का नाम रोशन कर चुके है व वर्तमान में वो रेवाड़ी के नांगल तेजू में प्रवक्ता के पद पर कार्यरत है। श्री श्याम मित्र मंडल के प्रधान अनिल गर्ग , प्रधान निरंजन मित्तल , विनोद मित्तल , दिनेश यादव , प्रवक्ता अजीत राव , बलवान सिंह प्रधान  व अनेकों सामाजिक संस्थाओं ने उन्हें बधाई दी।
फोटो कैप्शन 01: सचिन कुमार को सम्मानित करते हुए।


निजी स्तर पर खरीद पहुंची 96695 क्विंटल
-अब तक 3380 गेट पास काटे गये
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कनीना की आवाज।
 कनीना की नई अनाज मंडी स्थित चेलावास में सरकारी तौर अभी तक बाजरा नहीं खरीदा गया है लेकिन निजी स्तर पर 96695 क्विंटल बाजरा खरीदा जा चुका है। यह बाजरा 1900 रुपये से लेकर 1950 रुपये प्रति क्विंटल के हिसाब से खरीदा गया है। कुल आवक 96695 क्विंटल हो चुकी है। बुधवार को 625 किसान 19695 क्विंटल बाजरे की पैदावार लेकर अनाज मंडी पहुंचे।
 विस्तृत जानकारी देते हुए सचिव मार्केट कमेटी मनोज पाराशर ने बताया कि अब तक 3380  टोकन किसानों के काटे जा चुके हैं और किसान अपनी बाजरे की पैदावार अनाज मंडी में ला रहे हैं किंतु उनके सैंपल फेल होने के कारण सरकारी तौर पर खरीद नहीं हो पा रही है।
हैफेड मैनेजर वीरेंद्र कुमार ने बताया कि प्रतिदिन सैंपल रेवाड़ी भेजे जाते हैं किंतु मानकों पर खरे नहीं उतरने के कारण सभी सैंपल फेल हो जाते हैं। ऐसे में सरकारी तौर पर खरीद नहीं हो पा रही है।
फोटो कैप्शन 08: कनीना मंडी में बाजरे कर निरीक्षण करते अधिकारी

घटते लिंगानुपात पर जताई चिंता
संवाद सहयोगी, जागरण. कनीना। आयुष्मान आरोग्य मंदिर गुढ़ा पर घटते हुए घटते लिंगानुपात पर चर्चा की गई। जिसमें लोकेश कुमार सीएचओ ने बताया कि लड़कियां, लड़कों से किसी भी क्षेत्र में कम नहीं होती और बेटियां सभी क्षेत्रों में अपना-अपना, माता-पिता एवं परिवार जनों का नाम रोशन कर रही हैं। अगर लड़कियों को जन्म से पहले मार देंगे फिर पत्नी कहां से आएंगी। ऐसा करने वाला दंड का भागीदार होगा, यह कानूनी जुर्म है। जन्म से पहले लिंग जांच करवाने वाला और करने वाला और इनका साथ देने वाला सजा के भागीदार होते हैं।
 इनका पता एवं सूचना देने वाले व्यक्ति कोई नाम दिया जाता है तथा उसे व्यक्ति का नाम सार्वजनिक नहीं किया जाता। बैठक में लोकेश सीएचओ, संदीप एमपीएचडब्ल्यू, नवीन एएनएम, राजेश सिंह, आशा, आंगनवाड़ी वर्कर एवं महिलाएं मौजूद रही।
फोटो कैप्शन 02: गुढ़ा के सब सेंटर पर बैठक में बोलते लोकेश कुमार



दीपावली पर्व 20 अक्टूबर को पड़ेगा ---
शिति कंठा
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कनीना की आवाज।
ज्योतिषाचार्य पंडित ऋषिराज शितिकांठा का कहना है कि सूर्य सिद्धांत के अनुसार ही पंचांग निर्माण की हमारी ऋषि परंपरा रही है। धर्म शास्त्र के अनुसार ही हमारे निर्णय पूर्णत: फलित होते हैं, इसी को आधार मानते हुए देखें तो 20 अक्टूबर 2025 को 03:48 मिनट पर अमावस्या लग रही है। हमारे यहां प्रदोष व्यापिनी अमावस्या ही दीपावली पर ग्राह्य होती है जो कि अगले दिन शाम 5:55 बजे तक रहेगी।
ऐसे में धर्मशास्त्र और ज्योतिषीय सिद्धांत के आधार पर दीपावली का पर्व 20 अक्टूबर 2025 को ही मनाया जाएगा भारत में दीपावली त्योहार पांच दिन की अवधि तक मनाया जाता है।
देवज्ञ पंडित ऋषि राज शितिकंठा ने बताया कि दीपावली को अंधकार पर प्रकाश की जीत के उपलक्ष्य में मनाया जाता है।
यह भगवान राम के 14 वर्ष के वनवास से लौटने, या फिर पौराणिक कथाओं के अनुसार, समुद्र मंथन के दौरान कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या को कमल पर विराजमान माता लक्ष्मी का प्राकट्य हुआ था।
उनके आगमन और धन-समृद्धि की देवी के रूप में उनकी पूजा की जाती है।
जैन धर्म में दिवाली भगवान महावीर के निर्वाण दिवस के रूप में मनाई जाती है।
यह आत्मा की वह अवस्था है, जब वह जन्म और मृत्यु के चक्र से मुक्त होकर परम आनंद और ज्ञान का अनुभव करती है।
भारत में दीपावली त्योहार पांच दिन की अवधि तक मनाया जाता है। पहले दिन दीपावली पर, कौवे को परमात्मा का दूत होने की मान्यता के कारण प्रसाद दिया जाता है। दूसरे दिन
दीपावली पर, कुत्तों को अपनी ईमानदारी के लिए भोजन दिया जाता है। तीसरे दिन गोरु त्योहार
में, गाय और बैल को सजाया जाता है। लक्ष्मी पूजा की जाती है। इस दिन व्यापारी अपने सारे खातों को साफ कर उन्हें समाप्त कर देते हैं। लक्ष्मी पूजा से पहले, मकान  सजाया जाता है; लक्ष्मी पूजा के दिन, तेल के दीयों को दरवाजे और खिड़कियों के पास जलाया जाता है। चौथे दिन को गोवर्धन पूजा  होती है। यह कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि को मनाई जाती है, जो दीपावली महापर्व से चौथा दिन होता है। यह त्योहार 22 अक्टूबर को पड़ेगा। पांचवें और अंतिम दिन को भैया दूज कहा जाता, यह कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को मनाया जाने वाला हिन्दू धर्म का पर्व है जिसे यम द्वितीया भी कहते हैं। यह पर्व भाई के प्रति बहन के स्नेह को अभिव्यक्त करता है एवं बहनें अपने भाई की खुशहाली के लिए कामना करती हैं। भाई बहनों से मिलते हैं। भाई के माथे पर टीका लगाया जाता है। भाई अपनी बहनों को उपहार देते हैं । यह त्योहार 23 अक्टूबर को पड़ेगा।
 पंडित ऋषिराज ने बताया कि दीपावली को अंधकार पर प्रकाश की जीत के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। यह भगवान राम के 14 वर्ष के वनवास से लौटने, या फिर पौराणिक कथाओं के अनुसार, समुद्र मंथन के दौरान कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या को कमल पर विराजमान माता लक्ष्मी का प्राकट्य हुआ था।
 उनके आगमन और धन-समृद्धि  की देवी के रूप में उनकी पूजा की जाती है।
जैन धर्म में दिवाली भगवान महावीर के निर्वाण दिवस के रूप में मनाई जाती है।
यह आत्मा की वह अवस्था है, जब वह जन्म और मृत्यु के चक्र से मुक्त होकर परम आनंद और ज्ञान का अनुभव करती है।
फोटो कैप्शन : ऋषिराज













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